90 दिन से 400 बसों के पहिए जाम हैं। पहले सरकार ने यात्री बसों के संचालन पर रोक लगाई उसके बाद 8 जून से बस मालिकों ने वाहनों का संचालन शुरू नहीं किया।
कोरोना लॉकडाउन के चलते मार्च के अंतिम सप्ताह से प्रदेश के साथ जिले में भी यात्री बसों का संचालन बंद है। लॉकडाउन में छूट के बाद प्रदेश सरकार ने 8 जून से बसों के संचालन की अनुमति दी तो बस मालिकों ने मुद्दा उठाया कि लॉकडाउन अवधि का एक करोड़ 65 लाख रुपए परिवहन यान कर कोई भी बस मालिक जमा नहीं करेगा। इस मांग को लेकर प्रदेशभर के बस मालिक एकजुट हैं और 8 जून के बाद से 25 जून तक बसों का संचालन प्रदेश के साथ मुरैना जिले में पूरी तरह से बंद है। बस ऑपरेटर यूनियन के प्रदेश पदाधिकारी मनोज सिकरवार का कहना है कि सरकार से ऐसी उम्मीद है कि 2 से 3 दिन में टैक्स माफ किए जाने के आदेश जारी हो जाएंगे। यदि ऐसा नहीं होता है तो जिलेभर के 400 बस मालिकों की तरफ से हाईकोर्ट में जनहित याचिका लगाई जाएगी। इस संबंध में उनकी केन्द्रीय मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर से भी चर्चा हुई है।
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