ग्वालियर में पिछले 40 दिन में कोरोना से संक्रमित 9 लाेग मिल चुके हैं। इनमें से अगर ढोली बुवा का पुल निवासी बबीता वर्मा को छोड़ दिया जाए तो अन्य 8 मरीज बाहर से संक्रमित हाेकर आए। इनमें 18 से 28 अप्रैल तक तीन मरीज दिल्ली के रास्ते अाए, लेकिन इनकी ठीक से स्क्रीनिंग नहीं हुई। इससे बाॅर्डर पर स्क्रीनिंग के दावाें पर भी सवाल खड़े हाे रहे हैं। गुरुवार को पॉजिटिव पाया गया सिल्वर एस्टेट निवासी एनएमक्यू शमशी की एंबुलेंस जब ग्वालियर सीमा पर पहुंची तो वहां टीम ने सिर्फ थर्मल स्केनर से शरीर का तापमान नापकर इन्हें घर जाने दिया। ट्रैवल हिस्ट्री होने के बाद भी क्वारेंटाइन नहीं किया गया। गुरुवार को 97 मरीजों के सैंपल लिए गए। जबकि वायरोलॉजिकल लैब में 124 लोगों के सैंपल की जांच की गई। इसमें 123 की रिपोर्ट निगेटिव आई है।
अभिषेक मिश्रा
खजुराहो घूमकर लौटे थे
चेतकपुरी के अभिषेक मिश्रा को खजुराहो से लौटने के बाद 24 मार्च को यह पता चला कि उन्हें बॉर्डर लाइन कोरोना संक्रमण है। इसके बाद उसे भर्ती करा दिया गया। अभिषेक की पत्नी और ड्राइवर की रिपोर्ट निगेटिव आई थी।
अशोक कुमार
इनकी पत्नी यूके से आईं थीं
बीएसएफ के अफसर अशोक कुमार की पत्नी यूके से आई थीं। 28 अप्रैल को हुई जांच में अशोक कुमार को कोरोना संक्रमण पाया गया था। अशोक की पत्नी और बेटे की रिपोर्ट निगेटिव आई थी। इलाज के बाद 9 अप्रैल को डिस्चार्ज कर दिया गया था।
जोहरा खान
उप्र के सहारनपुर से लौटीं थीं
सत्यदेव नगर की जोहरा खान की रिपोर्ट 7 अप्रैल को पॉजिटिव आई। जोहरा का भाई 17 फरवरी को दुबई से आया था। उससे मिलने वह उप्र के सहारनपुर में गई थीं। इलाज के बाद 18 अप्रैल को जोहरा खान को डिस्चार्ज कर दिया गया था।
पेशे से नर्स, इंदौर से लौटीं थीं
आमखो निवासी जेएएच के ट्रॉमा सेंटर में पदस्थ स्टाफ नर्स लता प्रभारी 4 अप्रैल को इंदौर से ग्वालियर आईं थी। यहां उन्होंने दो दिन ट्रॉमा सेंटर में ड्यूटी की। 7 अप्रैल को उन्हें कोरोना होने की पुष्टि हुई थी। 18 अप्रैल को लता को डिस्चार्ज कर दिया गया।
अजय जाटव
महाराष्ट्र के कोल्हापुर से आया था
सिंधिया नगर का अजय जाटव महाराष्ट्र से कोल्हापुर से 3 अप्रैल को आया था और उसे क्वारेंटाइन सेंटर में रखा गया था। उसे 7 अप्रैल को हुई जांच में कोरोना होने की पुष्टि हुई। अजय को सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल से 18 अप्रैल को डिस्चार्ज कर दिया गया।
वजीर खान
काम बंद होने पर दिल्ली से आया
बहोड़ापुर निवासी मुबारक हुसैन दिल्ली में रहकर बुटिक का काम करता था। 22 अप्रैल को वह संक्रमित पाया गया। वह 19 अप्रैल को अपने घर पहुंच गया था। दो दिन बाद थाने गया तो उसकी जांच की। मुबारक का सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल में इलाज चल रहा है।
एनएमक्यू शमशी
परिवार के साथ दिल्ली से लौटे
सिल्वर एस्टेट निवासी एनएमक्यू शमशी 28 अप्रैल को पिता का इलाज कराकर दिल्ली से परिवार सहित लौटे थे। उन्हें सत्कार गेस्ट हाउस में क्वारेंटाइन किया गया था। गुरुवार को उनका सैंपल पॉजिटिव आने के बाद उन्हें सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल में भर्ती किया गया।
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