(संजय बौहरे )रक्षा अनुसंधान एवं विकास स्थापना (डीआरडीई) के वैज्ञानिकाें ने मल्टीपरपज डिकांटेमिनेशन स्टेशन (वायरसरहित करने वाला) का निर्माण किया है। इसमें 20 फीट लंबी और 10.5 फीट चौड़ी टनल तैयार की गई है। इसमें प्रवेश करने वाले कोरोना वायरस के संदिग्ध वाहन या व्यक्ति को पूरी तरह से वायरस फ्री किया जा सकेगा। केमिकल हमले की स्थिति में दूषित वाहन में मौजूद खतरनाक केमिकल का डिकंटामिनेशन भी इस टनल में किया जा सकेगा। टनल में सेनिटाइजेशन में उपयोग होने वाले सॉल्यूशन के फार्मूले पर शोध किया जा रहा है इसलिए अभी टनल को उपयोग के लिए नहीं दिया गया है। डीआरडीई के निदेशक डॉ. डीके दुबे, एसोसिएट निदेशक डॉ. एके गुप्ता और अरुनांचल विश्वकर्मा की निगरानी में
ये है खासियत
- टनल स्टेशन में एयर कंप्रेशर लगा है, जो सेनिटाइज में उपयोग होने वाले लिक्विड का हवा के साथ मिलाकर एरोसॉल सॉल्यूशन बनाएगा, जिसका छिड़काव वाहन या व्यक्ति पर करने से उनका डिकंटामिनेशन यानी उन्हें वायरसफ्री किया जा सकेगा।
- स्टेशन में 10 स्प्रे, 3 शॉवर और 8 माइक्रो स्प्रे लगाए गए हैं। इसमें पैराशूट में उपयोग होने वाले कपड़े का उपयोग किया गया है।
बिना अवकाश शाेध में जुटे हैं वैज्ञानिक सेनिटाइजर भी तैयार कर रहे हैं
कोरोना आपदा से निपटने में जुटे डीअारडीई के वैज्ञानिक अवकाश नहीं ले रहे हैं। कोरोना संदिग्ध मरीजों के सैंपल के परीक्षण के साथ ही दिल्ली, रक्षा संस्थान अाैर सेना के लिए सेनिटाइजर बनाने के साथ ही वायरस से निपटने के लिए नए सॉल्यूशन को लेकर अनुसंधान भी किए जा रहे हैं।लाॅकडाउन के कारण डीआरडीई को टनल स्टेशन के निर्माण के लिए जब बाजार में सामान नहीं मिला तो एआरडी स्टेशन आगरा और सेना एमईएस से सामान मंगाया गया।
इधर, टनल में इस्तेमाल हाेने वाले सॉल्यूशन पर डब्ल्यूएचओकाे आपत्ति, तमिलनाडु में इस पर राेक
देश के कई राज्यों में रेलवे और राज्य सरकारों ने भीड़ वाले क्षेत्रों व चेकिंग नाकों पर लोगों को सेनिटाइज करने के लिए डोर फ्रेम मेटल डिटेक्टर (डीएफएमडी) की तर्ज पर छोटी टनल का उपयोग शुरू किया है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने इन टनल में उपयोग किए जा रहे सॉल्यूशन से कुछ लोगों को आंख व गले में परेशानी आने पर आपत्ति की है। इसके बाद तमिलनाडु में इनके उपयोग पर रोक भी लगा दी है। इस कारण डीआरडीई नए सॉल्यूशन को लेकर शोध कर रहा है।
जल्द ही यह काम पूरा कर लिया जाएगा
डीआरडीई में सेनिटाइजेशन व डिकंटामिनेशन टनल स्टेशन का निर्माण व उसमें इस्तेमाल किए जाने वाले सॉल्यूशन पर अनुसंधान किया जा रहा है। जल्द ही यह काम पूरा कर लिया जाएगा। -परितोष मालवीय, जनसंपर्क अिधकारी, डीआरडीई
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